पूर्व प्रधानमंत्री डॉ मनमोहन सिंह का निधन
कांग्रेस के सबसे उम्रदराज नेता और हमारे देश के पूर्व प्रधानमंत्री डॉक्टर मनमोहन सिंह का दिल्ली के एम्स अस्पताल में निधन हो गया है। डॉ मनमोहन सिंह का निधन 92 वर्ष में हुआ बढ़ती उम्र संबंधित समस्याओं से जूझ रहे थे आज शाम को ही उन्हें एम्स के दिल्ली अस्पताल में एडमिट किया गया था और उनका इलाज चल रहा था।
एम्स के मीडिया सेल ने डॉक्टर मनमोहन सिंह के निधन का पुष्टि की है। इस न्यूज़ को सुनकर दिग्गज नेता अभिनेता और हर आम और खास अपना दुख प्रकट कर रहे हैं और सोशल मीडिया पर उन्हें श्रद्धांजलि दी जा रही है। इस बीच बीच देश के प्रधानमंत्री के मौजूदा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी सोशल मीडिया पर एक्स पर ट्वीट करते हुए श्रद्धांजलि दी।
उन्होंने दो अलग-अलग ट्वीट करते हुए लिखा जब डॉक्टर मनमोहन सिंह जी प्रधानमंत्री थे और मैं गुजरात का मुख्यमंत्री था तब मेरे और उनके बीच नियमित बातचीत होती थी हम शान से संबंधित विभिन्न विषयों पर व्यापक विचार विमर्श करेंगे उनकी बुद्धिमत्ता और विनम्रता हमेशा देखने लायक थी। इस दुख की घड़ी में मेरी सुमित ना आए डॉक्टर मनमोहन सिंह जी के परिवार उनके मित्रों अनगिनत प्रश्षकों के साथ ओम शांति
डॉक्टर मनमोहन सिंह का बायोग्राफी
डॉ मनमोहन सिंह का जन्म भारत के पंजाब के प्रांत की एक छोटे से गांव में 26 सितंबर 1932 को हुआ था। अपनी प्रारंभिक शिक्षा 1948 में पंजाब यूनिवर्सिटी से मैट्रिक पूरी करके उन्हें उच्च शिक्षा की दिशा में कदम बढ़ाया। इसके बाद में ब्रिटेन गए जहां 1957 में कैंब्रिज यूनिवर्सिटी से अर्थशास्त्र में फर्स्ट क्लास ऑनर्स की डिग्री हासिल की। उन्होंने 1962 में ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी के फील्ड कॉलेज अर्थशास्त्र में दी फल की उपाधि भी प्राप्त की।
डॉ मनमोहन सिंह ने अपने शैक्षणिक यात्रा के दौरान पंजाब यूनिवर्सिटी और दिल्ली ऑफ इकोनॉमिक्स में अध्यापन कार्य किया। उसके बाद उन्होंने सरकारी कार्यों के सेवा में प्रवेश किया। 1971 में वे वाणिज्य मंत्रालय में आर्थिक सलाहकार बने और 1972 में वित्त मंत्रालय के मुख्य आर्थिक सलाहकार के रूप में नियुक्त हुए।
सरकारी सेवा के दौरान विवेक मंत्रालय के सचिव योजना आयोग के उपाध्यक्ष भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर प्रधानमंत्री के सलाहकार और विश्वविद्यालय अनुदान आयोग के अध्यक्ष जैसे महत्वपूर्ण पदों पर कार्यरत रहे। 1991 से 1996 के दौरान भारत के वित्त मंत्री के रूप में उन्होंने आर्थिक सुधारो की नींव रखी जिसे राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सराहा गया।
1991 में डॉक्टर मनमोहन सिंह पहली बार राज्यसभा के सदस्य चुने गए उन्होंने पांच बार असम और 2019 में राजस्थान का प्रतिनिधित्व किया। 1998 से 2004 तक जब भारतीय जनता पार्टी सत्ता में थी वह राज्यसभा में विपक्ष के नेता की भूमिका में रहे।
1999 में उन्होंने दक्षिणी दिल्ली लोकसभा सीट से चुनाव लड़ा लेकिन हार गए इसके बावजूद 2004 में कांग्रेस के नेतृत्व में यूपीएस सरकार बनने पर डॉक्टर मनमोहन सिंह ने 22 में को भारत के प्रधानमंत्री के रूप में शपथ ली उन्होंने 2009 के आम चुनाव के बाद अपने दूसरे कार्यकाल के लिए फिर से प्रधानमंत्री पद संभाला| डॉक्टर मनमोहन सिंह ने 2004 से 2014 तक देश की सेवा करते हुए भारत के आर्थिक और राजनीतिक क्षेत्र में अपने अमित छाप छोड़ी उन्होंने सादगी विधाता और दूरदर्शिता ने अपनी भारतीय राजनीति में एक अद्वितीय स्थान दिलाया।
FAQ: पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह का निधन
- डॉ. मनमोहन सिंह के प्रधानमंत्री बनने से पहले उनका करियर कैसा था? वे अर्थशास्त्री, शिक्षक और विभिन्न सरकारी पदों जैसे वित्त मंत्रालय के सचिव, भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर और योजना आयोग के उपाध्यक्ष के रूप में कार्य कर चुके थे।
- डॉ. मनमोहन सिंह का निधन कब और कहां हुआ? डॉ मनमोहन सिंह का निधन 26 दिसंबर 2024 में दिल्ली के एम्स अस्पताल में हुआ
- डॉ. मनमोहन सिंह का प्रधानमंत्री कार्यकाल कितने साल का था?
उनका कार्यकाल 2004 से 2014 तक लगातार 10 वर्षों का था। - मनमोहन सिंह के आर्थिक सुधारों का क्या महत्व था?
1991 में वित्त मंत्री के रूप में उन्होंने आर्थिक उदारीकरण की व्यापक नीति लागू की, जिससे भारतीय अर्थव्यवस्था को वैश्विक मंच पर नई पहचान मिली। - डॉ. मनमोहन सिंह का जन्म और शिक्षा कहां हुई?
उनका जन्म 26 सितंबर 1932 को अविभाजित भारत के पंजाब में हुआ था। उन्होंने कैम्ब्रिज और ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी से उच्च शिक्षा प्राप्त की।